एलन मस्क की स्टारलिंक सर्विस भारत में आने की तैयारी कर रही है. इसके लिए स्टारलिंक ने भारतीय टेलीकॉम कंपनियां जियो और एयरटेल से हाथ मिलाया है. सैटेलाइट्स के जरिए इंटरनेट सर्विस की सेवाएं देने वाले स्टारलिंक को लेकर लोगों के मन में कई सवाल हैं. इसे डिजिटल क्रांति के तौर पर देखा जा रहा है. TV9 भारतवर्ष से विशेष बातचीत के दौरान टेलीकॉम एक्सपर्ट अनिल कुमार ने स्टारलिंक से जुड़े कई अहम सवालों के जवाब दिए.
सवाल-1: स्टारलिंक का भारत आना डिजिटल क्रांति क्यों है?
जवाब: भारत की 5% पॉपुलेशन ऐसे 20 प्रतिशत क्षेत्र में रहती हैं, जिसे डार्क स्पॉट बोलते हैं कि यहां पर बिल्कुल कवरेज नहीं है. ऐसे लोगों तक स्टारलिंक इंटरनेट कनेक्टिविटी उपलब्ध करा सकती है. स्टारलिंक की अच्छी बात यह है कि जमीन बिना कोई काम किए यह सर्विस तुरंत पहुंच सकती है. हालांकि सर्विस नॉर्मल टेलीफोन की तुलना में 4 गुना महंगी होगी. गवर्नमेंट को अब इसमें रोल प्ले करना पड़ेगा. यह सर्विस ऐसी प्राकृतिक आपदाओं के वक्त काफी मददगार होगी, जब बाकी टेलीकॉम सर्विस ठप हो जाती हैं. क्योंकि सैटेलाइट के जरिए कनेक्टिविटी जारी रहेगी. स्टारलिंक के पास करीब 6500 सेटेलाइट हैं जो ऊपर आकाश में हैं. यह पृथ्वी की निचली कक्षा में परिक्रमा करते हैं. लोअर ऑर्बिट में होने की वजह से सिग्नल बहुत तेजी से आ-जा सकते हैं, जो भारत में बाकी के इंटरनेट प्राइडरों के लिए संभव नहीं है. स्टार्टिंग का एडवांटेज बहुत ज्यादा है.
सवाल-2: स्टारलिंक के आने से भारत में क्या बदल जाएगा?
जवाब: जिसे स्पीड ज्यादा चाहिए और रिलायबिलिटी चाहिए वह इसपर निर्भर कर सकते हैं. जहां नेटवर्क बिल्कुल नहीं है वहां पर कवरेज आ सकता है. जब 1995 में 30 साल पहले मोबाइल आया था. उस टाइम बहुत हाई क्लास लोगों के पास ही मोबाइल होता था. धीरे-धीरे गरीब लोगों पर भी मोबाइल आ गए. यह सर्विस बढ़ती गई. आज सब्जी वाले के पास भी मोबाइल फोन हैं. झाड़ू लगाने वाले के पास भी हैं. शुरू में यही हालात होंगे. शुरुआत में सैटेलाइट फोन हायर रेंज वाले लोग हैं उनके पास रहेगा. आज कल देखते हैं कि नॉर्मल मोबाइल फोन की क्वालिटी और सर्विस बहुत खराब हो चुकी है. सेटेलाइट फोन से इसमें सुधार होगा.
सवाल- 3: स्टारलिंक के आने से भारत को क्या क्या फायदे होंगे?
जवाब: हम इसी से अंदाजा लगा सकते हैं कि वह स्टारलिंक के पास पूरा का पूरा एक सिस्टम है. वह सैटेलाइट बनाते भी हैं और अपना सैटेलाइट लांचर भी है. सैटेलाइट सर्विस भी प्रोवाइड करते हैं. एक यह यूनिक फीचर है जो किसी और ऑपरेटर के पास मिलेगा नहीं. यह अब तक न भारती एयरटेल पास है और न ही जिओ के पास है. भारत के लिए यह टेक्नोलॉजी बहुत ही अच्छी रहने वाली है. एक्जिस्टिंग ऑपरेटरों को बहुत कंपटीशन भी फेस करना पड़ेगा, क्योंकि यह नॉर्मल टेलीफोन के ऊपर की फैसिलिटी आने वाली है. जो मोबाइल फोन है उसमें कॉल आ सकती है जा सकती है. यह काफी इकोनॉमी में बेनिफिट करेगा.